बाघ भ्रमण क्षेत्र के भीतर घुसकर खनन, बरसाती नाले का रास्ता मोड़ा

भोपाल- बाघ भ्रमण क्षेत्र में नियमों को ताक पर रखकर लंबे समय से खनन किया जा रहा है। इस दौरान बड़े स्तर पर कोपरे का खनन कर दूसरी जगहों पर डलवाया जा रहा है। खनन स्थल पर बड़ी संख्या में पेड़ों को भी काटा गया है और केरवा डैम तक वर्षा के समय जलापूर्ति करने वाले एक प्राकृतिक नाले का रास्ता भी खनन के बाद बदल दिया गया है। मामले में शहर के पर्यावरण कार्यकर्ता राशिद नूर खान ने कलेक्टर भोपाल और डीएफओ, भोपाल वनमंडल को शिकायत कर मामले की जांच करने को कहा है। पर्यावरण कार्यकर्ता राशिद नूर खान ने बताया कि मुरम खोदने के बाद उसे भोपाल में किसी भी जगह भिजवाया जा रहा है। बात करने पर वन माफिया सीधे जगह पर माल भेजने की बात कर रहा है।
लंबे समय से चल रहा है अवैध खनन
केरवा स्थित ग्राम दौलतपुर विपश्यना केंद्र के पास स्थित वन भूमि में वन विभाग द्वारा घोषित बाघ परिभ्रमण क्षेत्र के अंदर लगी 10 फीट ऊंची जालियों के अंदर घुसकर वन माफिया ने बड़े पैमाने पर खनन किया है। खनन के कारण यहां के एक बरसाती नाले का प्राकृतिक स्वरूप भी बदल गया है। वन माफिया द्वारा यहां पर खनन के लिए मशीनरी का उपयोग भी किया जा रहा है। खनन स्थल पर बाघ की फेंसिंग को तोड़कर महीने से अवैध खनन चल रहा है, जबकि इस जगह पर प्रतिदिन वन विभाग का गश्ती दल गश्त करता रहता है। मुरम को खोदकर पास के खेतों में डाला जा रहा है।
कैरवा डैम तक पहुंचाता है वर्षा जल
जिस बरसाती नाले का स्वरूप खोदाई के बाद बदल दिया गया है। स्थानीय लोगों के अनुसार यह वर्षा ऋतु में केरवा डैम तक वर्षा जल को पहुंचाता है। ऐसे में प्राकृतिक जल स्रोतों का स्वरूप बदलने से केरवा डैम के जलभराव पर फर्क पड़ना स्वाभाविक है। इसके पूर्व भी इस क्षेत्र में खनन के दौरान कई बरसाती नालों का स्वरूप बदल दिया गया है।
बेखौफ होकर मुरम बेच रहा वन माफिया
इस क्षेत्र में बड़ी संख्या में पेड़ों को काटने, मुरम को बेचने का काम चल रहा है। वन माफिया बेखौफ होकर खनन की बिक्री कर रहा है। बात करने पर मुरम बेचने की भी बात करता है।
– राशिद नूर खान, पर्यावरण कार्यकर्ता
शिकायत पर कर रहे हैं कार्रवाई
हमें शिकायत मिली थी। मामले में वन विभाग द्वारा कार्रवाई की गई है।
– आलोक पाठक, डीएफओ, भोपाल वन मंडल




