मुख्यमंत्री जी ऐसी शादी का क्या मतलब

मुख्यमंत्री कन्या विवाह योजना के तहत सोहावल ब्लॉक में बाबूपुर तथा अमरपाटन तहसील में सामूहिक रूप से कन्या विवाह आयोजित किया गया जिसमें बड़े पैमाने पर भ्रष्टाचार कहना उचित नहीं होगा बल्कि व्यापक पैमाने पर भ्रष्टाचार की बात कहना उचित होगा बाबूपुर में तो खाने पीने की व्यवस्था कुछ ठीक थी लेकिन अमरपाटन में तो शादी समारोह में लोग पूरी और सब्जी के लिए भी तरस गए । इस समारोह में कन्याओं को जिस तरीके की सामग्री दी गई अगर उनकी सूची बनाकर किसी स्वतंत्र एजेंसी से जांच करा ली जाए तो सप्लायर और अधिकारी का गठजोड़ पूरी तरह से सामने आ जाएगा। प्रदेश के मुख्यमंत्री गरीब कन्याओं के विवाह के लिए कितने चिंतित है इसीलिए उन्होंने मुख्यमंत्री कन्या विवाह योजना स्कीम शुरू की लेकिन इस योजना का फायदा जब गरीब कन्याओं को ना मिले तो ऐसी योजना चलाने का क्या मतलब । जी हां मुख्यमंत्री जी मैं ठीक कह रहा हूं आपने एक कन्या के विवाह में टेंट और भोजन के लिए ₹6000 देते हैं इसके अलावा एक कन्या को ₹38000 की सामग्री भी उपलब्ध कराते हैं तथा ₹11000 का चेक भी उस कन्या को दिया जाता है। मुख्यमंत्री जी जितना आप कन्या के नाम पर बजट आवंटित करते हैं इतना बजट तो खर्च होता है लेकिन इस बजट का मुख्य फायदा गरीब कन्या को नहीं बल्कि इस बजट का पूरा फायदा सप्लायर अधिकारी उठाते हैं। इसका जीता जागता प्रमाण 16 फरवरी को विशाल खबर सतना जिले के बाबूपुर स्टेडियम से जुटाया बाबूपुर स्टेडियम में सोहावल ब्लॉक की तरफ से 200 कन्याओं के विवाह की योजना थी विवाह हुए भी लेकिन जिस तरीके से ₹38000 की सामग्री कन्याओं को देनी थी और जो सामग्री कन्याओं को दी गई अब्बल दर्जे की घटिया सामग्री थी । कन्याओं को घटिया सामग्री मिले इस पूरे खेल में महिला बाल विकास अधिकारी सौरव सिंह और छतरपुर की एक सप्लायर कंपनी है जिसका नाम है रिचर्ड्सन। ये दोनों लोग मिलकर मुख्यमंत्री की सहृदयता और संवेदना के साथ भी खिलवाड़ कर रहे हैं । गरीब कन्याओं को 38000 की जो सामग्री देनी थी उसमें इस शर्त का उल्लेख किया गया है कि सारी सामग्री आई एस आई मार्के की होगी लेकिन जो सामग्री प्रदान की जा रही है वह आई एस आई मार्के की नहीं बल्कि आईएसओ मार्के की है । जब विशाल खबर की टीम बाबूपुर स्टेडियम में मुख्यमंत्री कन्या विवाह योजना के दौरान पहुंची तो वहां उपस्थित सोहावल जनपद के सीईओ कैमरे के सामने कुछ बोलने के लिए तैयार नहीं हुए जिला महिला बाल अधिकारी ने हमारे संवाददाता से कहा कि आईए ऑफिस में बैठ कर बात करते हैं । रिचर्ड्सन कंपनी जिसने कन्याओं को सामग्री प्रदान की है उसने भी कैमरे के सामने कुछ कहने से मना कर दिया बल्कि विशाल खबर के संवाददाता से इतना जरूर कहा कि दो-चार 5 दिन में हम आपकी भी व्यवस्था कर देंगे खबर मत चलाइए । क्योंकि अभी हमें पूरे जिले में काम करना है आप की खबर से रायता फैल जाएगा । जब इस संबंध में विशाल खबर का संवाददाता कलेक्टर अनुराग वर्मा से मिला तो उन्होंने कहा कि आपने जो भी विषय मेरे संज्ञान में लाया है उस पर मैं व्यक्तिगत तौर पर कार्यवाही करूंगा लेकिन कैमरे के सामने आकर उन्हें भी कुछ कहना उचित नहीं समझा । अगर मुख्यमंत्री कन्या विवाह योजना में भ्रष्टाचार नहीं है तो आखिरकार अधिकारी अपना मुंह छुपाते हुए क्यों घूम रहे हैं । आप हमारी वीडियो में रिचर्ड्सन कंपनी द्वारा प्रदान की जाने वाली कुर्सी और टेबल भी देख सकते हैं जो आई एस आई मार्क आती नहीं है इसके अलावा पलंग और गद्दे भी जो दिए गए वह भी आई एस आई मार्क के नहीं है ।इतना ही नहीं शासकीय नियम के मुताबिक कन्या को सोलह सौ राशि की 4 साड़ियां प्रदान की जानी चाहिए लेकिन जो साड़ियां प्रदान की गई है वह ₹50 की कीमत की अधिक साड़ियां नहीं है इतना ही नहीं कन्याओं को चांदी का पायल मंगलसूत्र बिछिया बिंदिया भी प्रदान की गई है जो पूरी तरह से गिलट का है । कन्याओं को सिलाई मशीन भी दी गई है वह मशीन भी आई एस आई मार्क की नहीं है । मुख्यमंत्री कन्या विवाह योजना के तहत जितने बड़े पैमाने पर भ्रष्टाचार का खेल खेला जा रहा है इससे अच्छा है कि मुख्यमंत्री जी को इस योजना को बंद कर देना चाहिए क्योंकि जो सोचकर मुख्यमंत्री जी ने इस योजना की शुरुआत की है वाकई में मुख्यमंत्री जी की सोच के साथ अधिकारी मजाक कर रहे हैं। यदि इस पूरे मामले में कहीं कोई झूठ रिपोर्ट आपको दिखाई जा रही है तो मुख्यमंत्री जी आप मुख्यमंत्री कन्या विवाह योजना में लाभान्वित कन्याओं की सूची लेकर किसी स्वतंत्र एजेंसी से इस बात की जांच करा लीजिए दूध का दूध और पानी का पानी हो जाएगा। विशाल खबर हमेशा से यह कहता आया है कि भारतीय जनता पार्टी की नीति और नियत में कहीं कोई खोट नहीं है लेकिन जिस तरीके से अधिकारी योजनाओं में भ्रष्टाचार कर रहे हैं उसके चलते हैं कहीं ना कहीं 2023 के चुनाव में इन सारे भ्रष्टाचार ओं का जनता चुन चुन कर जवाब देगी । मुख्यमंत्री जी यदि मुख्यमंत्री कन्या विवाह योजना का पूरा लाभ टेंट लगाने वाले खाना बनाने वाले और सामग्री सप्लाई करने के अलावा सिर्फ अधिकारी को ही मिलना है तो ऐसी योजना चलाने का क्या मतलब। मेरा उन नेताओं से भी यह सवाल है जो आने वाले भविष्य में विधानसभा का चुनाव भारतीय जनता पार्टी टिकट पर लड़ेंगे या लड़ने का मन बनाए हुए हैं क्या वह इस तरीके के भ्रष्टाचार केमोन समर्थक है जब वे चुनाव प्रचार के दौरान जनता से मुलाकात करेंगे तो इस तरीके के भ्रष्टाचार के सवाल जनता इन्हीं नेताओं से 2023 में पूछने वाली है बेहतर होगा अभी वे नेता सजग होकर इन अधिकारियों से सवाल जवाब करें और जिस तरीके का भ्रष्टाचार खुलेआम दिलेरी से किया जा रहा है उसके विरुद्ध आवाज उठाएं नहीं तो यह पब्लिक है सब जानती है।




